Vigyan Dhara कैबिनेट ने 11वीं, 12वीं के छात्रों के लिए इंटर्नशिप योजना विज्ञान धारा मंजूर की है`, इस योजना से विज्ञान के छात्रों को प्रेक्टिकल ज्ञान मिल सकेगा. इस योजना के पांच पिल्लर को आइये समझिये .
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Vigyan Dhara विज्ञान धारा जिसमें पांच बड़े पिलर्स हैं
सूचना प्रसारण मंत्री ने बताया कि विज्ञान धारा स्कीम साइंस एंड टेक्नोलॉजी में प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी का हमेशा से बहुत विश्वास रहा है इसीलिए साइंस एंड टेक्नोलॉजी पर बहुत बड़ा फोकस रख कर आज एक बहुत ही कंप्रिहेंसिव स्कीम का अप्रूवल हुआ है विज्ञान धारा जिसमें पांच बड़े पिलर्स हैं इन पांचों पिलर्स को हमारे स्टूडेंट्स के लिए रिसर्चस के लिए साइंटिस्ट कम्युनिटी के लिए लेबोरेटरी में इंप्रूवमेंट करने के लिए यूनिवर्सिटी सिस्टम में बेटरमेंट लाने के लिए उन सबको ध्यान में रखते हुए पांच पिलर्स बनाए गए
पहला पिलर है
11 और 12 क्लास में इंटर्नशिप्स साइंस एंड टेक्नोलॉजी में जो एक कन्वेंशनल वे में जो रोट मेथड था टेक्स्ट बुक मेथड था उससे बाहर निकल के किस तरह से हम स्टूडेंट्स को रियल लाइफ एनवायरमेंट में अपॉर्चुनिटी दे जिससे कि वह उनकी एंप्लॉय बिलिटी भी बढ़े साइंस एंड टेक्नोलॉजी में रिसर्च में उनको और अच्छे सीखने का प्रैक्टिकल सीखने का मौका मिले फेलोशिप फॉर अंडर ग्राड पोस्ट ग्राड पीएचडी पोस्ट डॉक्टोरल रिसर्च इसको एक बहुत ही अच्छे तरीके से रैशन आइज करके बहुत बढ़ा के करने का प्रयास स्कीम में रहेगा
सेकंड पिलर है
जॉइंट रिसर्च सॉरी इंटरनेशनल कलेब बहुत सारे ऐसे बड़े प्रोजेक्ट्स हैं जो ग्लोबली दुनिया भर में कई देश मिलकर करते हैं उन सबके साथ मिलके आज भारत की एक नई पहचान है प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी ने जो फॉरेन पॉलिसी जिस तरह से कंडक्ट की है 10 वर्षों में भारत की एक बहुत बड़ी नई पहचान बनी है इकॉनमी भी आज फिफ्थ लार्जेस्ट इकॉनमी है तो इस नई पहचान को साइंस एंड टेक्नोलॉजी के क्षेत्र मेंव् इंटरनेशनल कोलबेन में उपयोग करें.
थर्ड पिलर
जॉइंट रिसर्च प्रोजेक्ट और जॉइंट फेलोशिप भारत में जो टैलेंट है इस टैलेंट की बहुत वैल्यू है और इस टैलेंट से जो आईपी क्रिएट हो वह आईपी राइट्स भारत में ही रहे उसके लिए जरूरी है कि हम ब्रेन ड्रेन पे से निकलकर जॉइंट रिसर्च जॉइंट फेलोशिप जॉइंट प्रोजेक्ट पर फोकस करें.
फोर्थ पिलर
हमारी सोसाइटी को अफेक्ट करने वाले मुद्दे रेसिलियंस क्लाइमेट चेंज नैनो टेक्नोलॉजी जो डे टू डे यूज में आने वाली चीजें उन सब पर फोकस करके नए प्रोजेक्ट लेना जिससे कि सोसाइटी में एक बड़ा चेंज आ सके बहुत बड़ा एक इंप्रूवमेंट आ सके
पांचवा पिलर
बहुत सारी हमने एग्जांपल्स देखे होंगे पास्ट में जिसमें रिसर्च हो जाती थी लेकिन उसका फाइनल प्रोडक्ट नहीं बनता था जब तक कोई प्रोडक्ट ना बने या जब तक कोई सर्विस ना बने तब तक उस रिसर्च का इतना ज्यादा महत्व नहीं रह जाता है सोसाइटी के लिए इसलिए जरूरी था कि हम रिसर्च को आगे ले जाएं जिसमें वह प्रोडक्ट की तरह उपयोग में आ सके सर्विसेस की तरह उपयोग में आ सके
विज्ञान धारा स्कीम 10500 करोड़ रुपी स्कीम
- साइंस एंड टेक्नोलॉजी हम जब भी पढ़ते थे उसमें मैक्सिमम से मैक्सिमम हमको जो एक्सपोजर मिलता था प्रैक्टिकल वह होता था लैब में लैब के अलावा प्रैक्टिकल एक्सपोजर प्रैक्टिकली नहीं मिलता था और ज्यादातर स्टडी थियोरेटिकल होती और थियोरेटिकल से रियल लाइफ में जो गैप है इस गैप को अगर फुलफिल करना है इस गैप को फिल अप करना है.
- तो इस गैप को फिल अप करने के लिए बहुत जरूरी है कि हम एक इंटर्नशिप वाली व्यवस्था बने जिसमें 11 और 12 के जो स्टूडेंट्स है वो जो रियल में साइंस एंड टेक्नोलॉजी के क्षेत्र में काम करने वाले चाहे कंपनीज हो चाहे गवर्नमेंट के ऑर्गेनाइजेशन हो चाहे एकेडमिका हो इन सबके साथ इंटर्नशिप करें और इंटर्नशिप में प्रैक्टिकल नॉलेज ले उस प्रैक्टिकल नॉलेज के बाद में उनके आगे की जो स्टडी रहेगी वह बहुत ही अच्छा उसमें बेनिफिट मिलेगा
- गवर्नमेंट स्कूल्स के स्टूडेंट्स को सबको इसका बेनिफिट मिलेगा और यह बहुत एक पाथ ब्रेकिंग सोच है और इसका कई ज कई आने वाले डिकेड्स तक इसका बेनिफिट मिलेगा
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